राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राज्य में कानून व्यवस्था की समीक्षा कर रहे हैं। इसी कड़ी में उन्होंने पुलिस मुख्यालय में समीक्षा बैठक की। इस बैठक में प्रदेश के सभी आईजी और एसपी रैंक के अधिकारी भी शामिल हुए। इसके साथ ही एसीएस होम राजीव स्वरूप, डीजीपी भूपेंद्र यादव, एडीजी क्राइम बीएल सोनी सहित पीएचक्यू के अधिकारी भी इस बैठक में मौजूद रहे। ये बठक डीजीपी भूपेंद्र यादव के प्रेजेंटेशन के साथ शुरू हुई। इसके बाद सभी जिलों के एसपी ने सीएम गहलोत के सामने अपना-अपना रिपोर्ट कार्ड पेश किया।
जानकारी के मुताबिक इस बैठक का मुख्या एजेंडा अवैध बजरी खनन का मुद्दा था। इसके अलावा इस बैठक में मॉब लिंचिंग और ऑनर किलिंग कानून को लेकर भी चर्चा हुई। वहीं बात करें राज्य सरकार की प्राथमिक्ताओं की तो पुलिस थानों की कार्यप्रणाली में सुधार सरकार की सबसे पहली प्राथमिक्ता है।
UAPA कानून के तहत मसूद अजहर, दाऊद इब्राहिम और हाफिज सईद आतंकी घोषितइस बैठक में महिला सुरक्षा, वृद्ध जन सुरक्षा और क्राइम रेट में कमी पर भी मंथन हुआ। इसके अलावा सीएम गहलोत सांप्रदायिक तनाव की घटनाओं को लेकर भी चिंतित हैं। इस बैठक के बारे में जानाकरी देते हुए अशोक गहलोत ने ट्वीट करते हुए कहा, यहां पुलिस मुख्यालय में सभी जिलों के पुलिस अधीक्षकों, पुलिस महानिरीक्षकों एवं पुलिस मुख्यालयों के उच्चाधिकारियों के साथ कानून-व्यवस्था की समीक्षा की। पुलिस अधीक्षकों से जिलेवार कानून-व्यवस्था को लेकर विस्तृत चर्चा की।