जम्मू-कश्मीर की यात्रा को लेकर इन देशों ने जारी की एडवाइजरी, दी ये हिदायतें

केंद्र की मोदी सरकार ने जम्मू-कश्मीर में सैनिकों की अतिरिक्त तैनाती के आदेश दिए जिसके बाद हड़कंप मच गया. वहीं, ब्रिटेन और जर्मनी ने अपने नागरिकों को जम्मू-कश्मीर की यात्रा को लेकर एडवाइजरी जारी की है.  
बता दें कि आतंकी खतरे को देखते हुए अमरनाथ यात्रियों और पर्यटकों को जम्मू-कश्मीर से 2 अगस्त को लौटने के लिए कहा गया. जम्मू-कश्मीर के गृह सचिव ने एडवाइजरी कर उन्हें तुरंत घाटी छोड़ने की सलाह दी. एडवाइजरी के बाद अमरनाथ यात्री कश्मीर से वापस लौटने लगे.
इसके बाद  ब्रिटेन ने शनिवार (3 अगस्त) को जम्मू-कश्मीर की यात्रा करने के संबंध में अपने नागरिकों के लिए एक एडवाइजरी जारी की. ब्रिटेन ने एडवाइजरी जारी कर कहा कि उसके नागरिक जम्मू शहर और लद्दाख के अलावा राज्य में कहीं न जाएं. विदेश और राष्ट्रमंडल कार्यालय ने ब्रिटिश नागरिकों को जम्मू-कश्मीर की यात्रा न करने की सलाह दी. साथ ही तीन हिदायतें दीं-
1. जम्मू शहर के अंदर ही यात्रा करें.
2. हवाईमार्ग के द्वारा ही जम्मू जाएं.
3. लद्दाख क्षेत्र के भीतर ही यात्रा करें.
एडवाइजरी में कहा गया है कि अगर बहुत जरूरी हो, तभी श्रीनगर शहर में जाएं. श्रीनगर और जम्मू के बीच पड़ने वाले शहरों की यात्रा करने के लिए जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग से आने-जाने से बचें. धरती की जन्नत के पर्यटन स्थल पहलगाम, गुलमर्ग और सोनमर्ग की यात्रा के खिलाफ भी सलाह दी गई है.
ब्रिटेन के बाद जर्मनी की एडवाइजरी
ब्रिटेन के बाद जर्मनी ने भी अपने नागरिकों को जम्मू-कश्मीर की यात्रा न करने के लिए एक यात्रा परामर्श (एडवाइजरी) जारी किया है और कश्मीर घाटी या अमरनाथ यात्रा मार्ग से लगे इलाकों में रुके लोगों से राज्य छोड़ने के लिए कहा है. जर्मनी ने कहा है, 'कश्मीर यात्रा की सख्त मनाही.'
परामर्श में कहा गया है, 'जम्मू-कश्मीर राज्य में हाल के दशकों में और हाल के दिनों में बम हमले हुए हैं, जिसमें कई लोग मारे जा चुके हैं.'
परामर्श में कहा गया है, 'पूरे क्षेत्र में विदेशियों के खिलाफ हमलों से इनकार नहीं किया जा सकता, जिसमें अपहरण की घटना भी शामिल हो सकती है.' परामर्श में आगे कहा गया है कि श्रीनगर सहित कश्मीर इलाके में यात्रा की सलाह नहीं दी जाती है.
जर्मनी ने परामर्श में कहा है, 'जम्मू-कश्मीर राज्य में हिंसक आतंकी घटनाएं और प्रदर्शनकारियों व पुलिस या सेना के बीच अचानक संघर्ष की घटनाएं हो रही हैं. सितंबर 2016 से अंतरराष्ट्रीय सीमा और नियंत्रण रेखा पर भारतीय और पाकिस्तानी सैनिकों व विभिन्न अलगाववादी समूहों के बीच फिर से सशस्त्र संघर्ष शुरू हो गए हैं.' परामर्श में जर्मनी ने अपने नागरिकों से कहा है कि हमेशा स्थानीय प्रशासन और सुरक्षा बलों के निर्देशों का अनुसरण करें.
गौरतलब है कि राज्य सरकार ने अमरनाथ यात्रा के तीर्थयात्रियों और पर्यटकों को कश्मीर छोड़ने की सलाह दी है, क्योंकि ताजा खुफिया जानकारी के अनुसार वहां आतंकी खतरे पैदा हो गए हैं.

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