पंचायत चुनाव: विधानसभा और लोकसभा में परचम लहराने वाली उत्‍तराखंड BJP के सामने हैं ये 5 बड़ी चुनौतियां

उत्‍तराखंड में विधानसभा और लोकसभा चुनाव में बाजी मारी वाली भारतीय जनता पार्टी पंचायत चुनावों में भी अपनी जीत को लेकर आशवस्त है. वैसे उसके सामने पांच चुनौतियां है, जिसका तोड़ उन्हें ढूंढना होगा. 2017 में हुए विधानसभा चुनावों में भाजपा की जीत में डबल इंजन का नारा सबसे कारगर साबित हुआ और कांग्रेस को भाजपा ने 11 की संख्या तक समेट दिया और 57 संख्या वाले उत्तराखण्ड में ऐतिहासिक बहुमत हासिल कर लिया था. यकीनन भाजपा के हर बड़े नेता ने कहा कि अगर केंद्र और राज्य में दोनों जगह भाजपा की सरकार होगी तो सूबे में विकास का इंजन दुगनी रफ्तार से दौडेगा. जबकि प्रधानमंत्री मोदी पर भी उत्तराखंड के वोटर ने पूरा भरोसा जताया.

लोकसभा में यूं मारी बाजी 
लोकसभा चुनावों में भी पार्टी ने मोदी के नाम को ही आगे रखा और प्रचार में वोटरों को ये यकीन दिलाया कि उनका हर वोट मोदी को पड़ रहा है. इसके साथ ही पूर्व सैनिक बहुल्य प्रदेश में राष्ट्रवाद का सेंटीमेंट भी खूब चला.

अब नगर निकाय चुनावों में अपनी जीत से उत्साहित भाजपा की नजरें पंचायत चुनावों पर है, लेकिन इस बार हालात बिल्कुल अलग हैं. अपनी जीत को दोहराने की राह में पार्टी के समाने कई चुनौतियां हैं.

पहली चुनौती
ये चुनाव बिना सिंबल के होना है और यहां पार्टी से ज्यादा प्रत्याशी महत्तवपूर्ण होगा. अगर पार्टी सही प्रत्याशी पर दांव नहीं लगा पाई तो नतीजे उसकी उम्मीदों से उलट हो सकते हैं. ‌

More videos

See All