कैबिनेट फैसला: पांच चिकित्सा महाविद्यालय में प्राध्यापकों की तैनाती का रास्ता साफ

राज्य के पांच चिकित्सा महाविद्यालय में संविदा के आधार पर 76 प्राध्यापक और 93 सहायक प्राध्यापकों की नियुक्ति जल्द होगी। कैबिनेट ने स्वास्थ्य विभाग के इस प्रस्ताव को मंगलवार शाम मंजूरी दे दी है। पीएमसीएच धनबाद और एमजीएम चिकित्सा महाविद्यालय जमशेदपुर के विभिन्न विभागों के रिक्त पद भरे जाएंगे। दूसरी ओर दुमका, पलामू एवं हजारीबाग में स्थापित नए चिकित्सा महाविद्यालयों के विभिन्न विभागों में शैक्षणिक संवर्ग के लिए दोनों पदों पर नियुक्ति होगी। 
झारखंड चिकित्सा शिक्षा सेवा (नियुक्ति प्रोन्नति एवं सेवा शर्त नियमावली) 2018 के प्रावधानों को शिथिल कर संविदा के आधार पर साक्षात्कार के माध्यम से नियुक्ति से संबंधित प्रस्ताव को स्वीकृति दे दी गई है। नियुक्तियां एक वर्ष के लिए की जाएंगी और नियमानुसार अवधि विस्तार दिया जाएगा। प्राध्यापकों के लिए 1.62 लाख प्रति माह वेतन के साथ 20 प्रतिशत भत्ता दिया जाएगा। सह प्राध्यापकों को 1.04 लाख रुपये प्रति माह वेतन के अलावा 20 प्रतिशत भत्ता देय होगा। 
मंत्रिपरिषद की मंगलवार को हुई बैठक में सूक्ष्म और लघु उद्योगों को बड़ी राहत दी गई है। अब सूक्ष्म और लघु उद्योग अपने उत्पाद और सेवा की गुणवत्ता के आधार पर नगर निगम, निगम और विभागों की निविदा प्रक्रिया में शामिल हो सकते हैं। उद्योग विभाग की प्रॉक्यूरमेंट पॉलिसी 2014 में अधिसूचित दस वर्षों के अनुभव और वार्षिक लेखा-जोखा की शर्तों के नियम में छूट दे दी गई है। उद्यमी इसकी काफी समय से मांग कर रहे थे। अब सूक्ष्म और लघु उद्योग आसानी से स्टार्ट अप योजना का लाभ उठा सकेंगे। निविदा प्रक्रिया में शामिल की जाने वाली वस्तुओं की संख्या 31 से बढ़ा कर 66 कर दी गई है।

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