राज्यसभा में गूंजा बिहार में AES से मौत का मामला : मनोनीत सदस्य ने कहा, देश भर में डॉक्टरों की कमी

 बिहार में इन्सेफेलाइटिस (एक्यूट इन्सैफेलाइटिस सिन्ड्रोम, एईएस) से बच्चों की मौत की घटनाओं पर चिंता जताते हुए राज्यसभा में बृहस्पतिवार को एक मनोनीत सदस्य ने कहा कि देश भर में डॉक्टरों की कमी है. मनोनीत डॉ केटीएस तुलसी ने उच्च सदन में शून्यकाल के दौरान यह मुद्दा उठाया. उन्होंने कहा कि बिहार में करीब 135 बच्चों की जान चली गयी. यह अत्यंत गंभीर मुद्दा है. 

तुलसी ने कहा कि देश भर में डॉक्टरों तथा अवसंरचना की घोर कमी है. देश की बड़ी आबादी को देखते हुए चिकित्सा के क्षेत्र में मानव संसाधन एवं अवसंरचना की कमी चिंता का विषय है. उन्होंने कहा कि हमारे देश में 10,189 लोगों पर एक एलोपैथिक डॉक्टर है और अस्पतालों में 2046 मरीजों पर एक बिस्तर है. ‘‘यह अत्यंत चिंताजनक स्थिति है.'' तुलसी ने कहा कि ग्रामीण इलाकों में हालात और खराब है. गांवों में तो नीम हकीम खुद को ऐलोपैथी डॉक्टर कहते हैं जबकि वे मुश्किल से 12वीं पास होते हैं.

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