टिहरी में खाई में गिरा स्‍कूली मैक्‍स वाहन, नौ बच्‍चों की मौत; नौ घायल

प्रतापनगर के कंगसाली गांव से मदननेगी जा रही स्कूल वाहन के कंगसाली के समीप करीब दो सौ मीटर गहरी खाई में गिरने से उसमें सवार नौ बच्चों की मौत हो गई, जबकि नौ घायलों को प्राथमिक उपचार के बाद जिला अस्पताल भेजा गया है। यह सभी बच्चे कंगसाली गांव के थे, जो मदननेगी में एक अंग्रेस स्कूल में पढ़ते थे। चंबा पुलिस लाइन से यहां हेलीकाप्टर पहुंचे और एयर लिफ्ट कर तीन गंभीर घायल बच्चों को एम्स ऋषिकेश रेफर किया गया। घटनास्थल जिला मुख्यालय से करीब 40 किमी दूर है। वहीं, इस मामले में परिवहन मंत्री यशपाल आर्य ने टिहरी के प्रभारी एआरटीओ निखिलेश ओझा को सस्‍पेंड किया है। उनके स्थान पर आनंद जायसवाल को टिहरी भेजा गया है।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने टिहरी के प्रतापनगर क्षेत्रांतर्गत कगंसाली में मैक्‍स वाहन दुर्घटना पर गहरा शोक जताते हुए मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की है। उन्होंने अधिकारियों को तेजी से राहत बचाव कार्य करने और घायलों का समुचित उपचार सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। सीएम ने दुर्घटना की मजिस्ट्रेट जांच के निर्देश दिए हैं। सीएम ने गंभीर घायलों को एम्स ऋषिकेश लाने के लिए हेली रेस्क्यू के लिए निर्देश दिए हैं।
हादसे का शिकार हुई मैक्स गाड़ी देहरादून में पंजीकृत है। वाहन का मालिक का नाम कुंवर सिंह है, जबकि गाड़ी किसी और संचालक के पास थी। गाड़ी 10 सीट में पास है। गाड़ी की फिटनेस 19 फरवरी 2020, परमिट 12 जनवरी 2021, जबकि बीमा 29 नवंबर 2019 तक वैध है। टिहरी एआरटीओ कार्यालय की तकनीकी टीम हादसे की जांच के लिए घटनास्थल रवाना हो गई है। परिवहन विभाग के अनुसार गाड़ी को ओवरलोड नहीं माना जा सकता, क्योंकि उसमें अधिकतर 5-6 साल से कम के बच्चे सवार थे।उधर, उत्तराखंड से राज्यसभा सदस्य और भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय मीडिया प्रमुख अनिल बलूनी ने जनपद टिहरी में वाहन दुर्घटना में बच्चों के मौत पर शोक प्रकट किया है। उन्होंने कहा यह हृदय विदारक है, इस दुख को शब्दों में व्यक्त नहीं किया जा सकता है। उनके माता-पिता किस वेदना और मनः स्थिति में होंगे अनुभव कर सकता हूं। कहा, मैं ईश्वर से प्रार्थना करता हू कि उनके परिजनों को इस असह्य पीड़ा को सहने की शक्ति दे और दिवंगतों को अपने श्री चरणों में स्थान दें। यह दुर्घटना किन परिस्थितियों में हुई? यह गंभीर जांच का विषय है क्योंकि पूरे पर्वतीय क्षेत्र में दूर-दूर तक स्कूली बच्चे बसों और टैक्सियों द्वारा यात्रा करते हैं। उनके सुरक्षा उपाय की निगरानी के मानक सुनिश्चित करने होंगे। 

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