बंगाली फिल्मों की अभिनेत्री अंजू घोष ने भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर ली है. उनकी नागरिकता को लेकर तृणमूल कांग्रेस ने सवाल खड़े किए. कहा कि BJP विदेशियों को पार्टी में शामिल कर रही है, इसलिए वह ‘इंटरनेशनल पार्टी’ बन गई है.
घोष ने अपनी सफाई में कहा है कि वह बंगाल में पैदा हुईं और बांग्लादेश में काम किया. उन्होंने दावा किया कि उनके पास भारतीय पासपोर्ट है और इन चुनावों में उन्होंने वोट भी किया. आइए जान लेते हैं कि भारत की नागरिकता कैसे मिलती है और यहां के चुनावों में कौन वोट कर सकता है.
भारत में कौन नहीं दे सकता वोट?
- ऐसा व्यक्ति जो भारत का नागरिक नहीं हैं, मतदाता भी नहीं हो सकता.
- वोट के लिए अमान्य करार दिए गए व्यक्तियों को भी यह अधिकार नहीं मिलता.
- NRI जिसके पास भारतीय पासपोर्ट है, वह मतदान कर सकता है. हालांकि पहले उसे खुद को ओवरसीज वोटर के रूप में रजिस्टर कराना होगा.
चार आधार पर नागरिकता देता है भारत
जन्म:- अगर कोई 26 जनवरी 1950 से 1 जुलाई 1987 के बीच भारत में पैदा हुआ है तो उसे भारतीय नागरिकता मिलेगी. भले ही उसके माता-पिता किसी भी देश के नागरिक रहे हों.
- 1 जुलाई 1987 से लेकर 2 दिसंबर 2004 तक भारत में जन्मे बच्चे को भारत की नागरिकता मिलेगी अगर उसके मां-बाप में से कोई एक भारतीय नागरिक हो.
- 3 दिसंबर 2004 या उसके बाद भारत में जन्मे बच्चों को नागरिकता तभी मिलेगी जब माता-पिता, दोनों भारतीय हों या कोई एक भारतीय नागरिक हो और दूसरा अपने जन्म के समय अवैध शरणार्थी न हो.
- वंश:
- 26 जनवरी 1950 के बाद परंतु 10 दिसंबर 1992 से पहले भारत से बाहर जन्मा व्यक्ति, भारत का नागरिक होगा अगर उसका पिता बच्चे के जन्म के समय भारत का नागरिक (जन्म से) हो.
- 10 दिसंबर 1992 और 3 दिसंबर 2004 से पहले भारत से बाहर जन्मा व्यक्ति तभी भारतीय नागरिक माना जाएगा जब उसके माता-पिता में से कोई एक नागरिक (जन्म से) रहा हो.
- 3 दिसंबर 2004 के बाद भारत से बाहर जन्मे व्यक्ति को स्वत: नागरिकता नहीं मिलेगी. माता-पिता को यह घोषणा करनी होगी कि बच्चे का किसी और देश में पासपोर्ट नहीं है.
- रजिस्ट्रेशन:
- भारतीय मूल का वह व्यक्ति जो भारत में सात साल तक रहा हो, उसे फॉर्म भरने पर नागरिकता मिल सकती है.
- वे नाबालिग बच्चे जिनके माता-पिता भारतीय नागरिक हों, उन्हें नागरिकता मिलती है.
- बालिग हो चुके वे व्यक्ति जिनके माता-पिता ने भारतीय नागरिक के रूप में रजिस्टर्ड हों, वे भी नागरिकता के लिए अप्लाई कर सकते हैं.
- निवास:
- अगर कोई विदेशी नागरिक भारत में 12 साल तक रहा हो तो उसे नागरिकता मिल सकती है. इसके अलावा सिटिजन एक्ट, 1955 के सेक्शन (6)1 में बताई गई शर्तें भी लागू होंगी.
- अगर कोई भारतीय व्यक्ति दूसरे देश की नागरिकता ग्रहण करता है तो वह भारत गणराज्य का नागरिक नहीं रह जाता. कोई विदेशी नागरिक भारत में मौजूद किसी राजनैतिक पार्टी की सदस्यता नहीं ले सकता.