
रमेश ध्वाला का छलक उठा दर्द, कहा- मेरे बलिदान को भूल गई बीजेपी
- सन 1998 में निर्दलीय विधायक के रूप में जीत कर आए रमेश ध्वाला के एक मत से पहली मर्तबा प्रदेश में बीजेपी की स्थाई सरकार बनी थी.
 - उस समय निर्दलीय विधायक होने पर भी रमेश ध्वाला को कैबिनेट मंत्री बनाया गया था.
 - लेकिन अब रमेश ध्वाला को सिर्फ राज्य योजना बोर्ड का उपाध्यक्ष बनाया गया है .
 - रमेश ध्वाला बोले मेरी ईमानदारी और कार्यशैली पर अगर मुख्यमंत्री को विश्वास होगा तो ठीक है, नहीं तो जहां हूं वहां ठीक हूं.
 
- रमेश ध्वाला ने आगे कहा कि मंत्री पद पाने के लिए मैं किसी के भी आगे नहीं गिड़गिड़ाऊगा.
 


 
 
 


























































