प्रशासन ने खट्टर को गेस्ट हाउस देने से इनकार किया; रात में ही हाईकोर्ट पहुंची सरकार, तब मिली अनुमति
मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के सामने शुक्रवार को अजीब स्थिति पैदा हो गई। डबवाली में चुनाव प्रचार के बाद जब वह चंडीगढ़ के लिए रवाना हुए तो मौसम खराब हो गया। इसके चलते उन्होंने रात को रास्ते में नरवाना के गेस्ट हाउस में रुकने का फैसला किया। हालांकि, उनकी परेशानी तब बढ़ गई, जब जींद के जिलाधिकारी (डीसी) और जिला निर्वाचन अधिकारी ने उन्हें नरवाना में ठहराने से इनकार कर दिया। इस पर रात करीब 8:30 बजे सरकार हाईकोर्ट पहुंच गई। सुनवाई के बाद ही खट्टर को नरवाना में ठहरने की अनुमति मिल पाई।
एडवोकेट जनरल (एजी) बलदेव राज महाजन करीब 8:30 बजे हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस कृष्ण मुरारी के पास पहुंच। तुरंत केस की सुनवाई की अपील की। चीफ जस्टिस ने जस्टिस राजीव शर्मा और जस्टिस एचएस सिद्धू की बेंच गठित की। एडीसी रजनीश गर्ग की ओर से याचिका लगाई गई। बेंच ने चुनाव आयोग के वकील बुलाए। 10:30 बजे सुनवाई शुरू हुई। सरकार की ओर से एजी के साथ एडिशनल एडवोकेट जनरल दीपक बालियान, गगनदीप सिंह वासू और डिप्टी एडवोकेट जनरल विवेक सैनी पहुंचे। 30 मिनट सुनवाई के बाद हाईकोर्ट ने सीएम को रात को नरवाना में रेस्ट हाउस में ठहराने के आदेश दिए।