सीबीआई विवाद: सरकार ने कहा- सीवीसी की सिफारिश पर वर्मा को छुट्टी पर भेजा था

सीबीआई विवाद पर आज सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए निदेशक आलोक वर्मा को राहत दी। उन्होंने 23 अक्तूबर को सरकार द्वारा जारी उनकी छुट्टी के आदेश को निरस्त कर दिया। इसके साथ ही वर्मा को सीवीसी जांच पूरी होने तक कोई भी बड़ा फैसला लेने से रोक दिया है। इस फैसले से जहां केंद्र सरकार को झटका लगा है वहीं वर्मा की अपने पद पर दोबारा बहाली हो गई है। उन्हें 75 दिन बाद अपना पद वापस मिला है। सरकार ने सीबीआई निदेशक और विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के बीच जारी तनातनी के सार्वजनिक होने पर दोनों को छुट्टी पर भेज दिया था।
कांग्रेस ने सीबीआई मामले पर दिए सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर प्रतिक्रिया दी है। कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, 'हम किसी एक व्यक्ति के खिलाफ नहीं हैं। अदालत के फैसले का स्वागत करते हैं। यह सरकार के लिए सबक है। आज आप इन एजेंसियों का उपयोग लोगों पर दबाव बनाने के लिए करेंगे, कल कोई और करेगा, ऐसे में लोकतंत्र का क्या होगा?'
जहां विपक्ष सरकार को आड़े हाथ ले रहा है वहीं सरकार ने सीबीआई के दो अधिकारियों को छुट्टी पर भेजने के फैसले पर सफाई दी है। वित्तमंत्री अरुण जेटली ने कहा, 'सरकार ने सीबीआई के दोनों वरिष्ठ अधिकारियों को छुट्टी पर भेजने का फैसला सीवीसी के सुझाव पर लिया था। दोनों अधिकारी एक-दूसरे पर आरोप लगा रहे थे। यह फैसला सरकार के लिए कोई झटका नहीं है। सरकार पर सवाल उठाना गलत होगा क्योंकि सीवीसी की सिफारिश पर अधिकारियों को छुट्टी पर भेजा गया था। सुप्रीम कोर्ट का फैसला बहुत संतुलित है।'

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