गैरसैंण में एक भी विधानसभा सत्र न कराए जाने पर विपक्ष सरकार को निशाने पर लिए हुए हैं.
पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा द्वारा गैरसैंण को राजधानी बनाने के लिए 50 हजार करोड़ रुपये की केंद्रीय सहायता की जरूरत के बयान पर पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कटाक्ष किया है.
उन्होंने कहा कि यदि ऐसा था तो पूर्व मुख्यमंत्री ने पहले गैरसैंण में कैबिनेट कर क्यों यहां राजधानी बनाने की बात कही थी.
गैरसैंण में कैबिनेट बैठक कराने के साथ ही विधानसभा सत्र तक आयोजित किए जा चुके हैं लेकिन अभी तक इसे राजधानी बनाने के संबंध में कोई भी निर्णय नहीं लिया गया है.
गैरसैंण को राजधानी बनाए जाने का मामला अभी तक प्रदेश में आई सरकारों के लिए एक राजनीतिक हथियार रहा है.