पटना हाईकोर्ट ने नीतीश सरकार को जमकर लगाई फटकार,जानिए वजह

पटना हाईकोर्ट ने पुलिस महकमे में बड़ी संख्या में विभिन्न पद खाली रहने पर चिंता जाहिर की है। अदालत ने कहा कि इन पदों के रिक्त रहने से आम नागरिकों के जान माल की सुरक्षा नहीं हो पा रही है। मुख्य न्यायाधीश एपी शाही एवं न्यायाधीश अंजना मिश्रा की दो सदस्यीय खंडपीठ ने सुप्रीम कोर्ट द्वारा भेजे गए एक मामले की मॉनीटरिंग करते हुए यह बात कही। पुलिस महकमे में सब-इंस्पेक्टर, कांस्टेबल और ड्राइवर के बड़ी संख्या में पद खाली हैं।
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने एक लोकहित याचिका की सुनवाई करते हुए सभी राज्य सरकारों को पुलिस महकमे के खाली पदों को भरने का निर्देश दिया था। बिहार सरकार की ओर से भी सुप्रीम कोर्ट को आश्वस्त किया गया था कि 2020 तक खाली पड़े पदों को भर लिया जाएगा। इस बीच गृह विभाग द्वारा हलफनामे के जरिए हाईकोर्ट को बताया गया कि  पदों को 2023 तक भर लिया जाएगा। नियुक्तियां तीन चरणों में हो पाएंगी।
इस पर खंडपीठ ने कड़ी आपत्ति जताई। कहा कि एक साल के अंदर नियुक्ति क्यों नहीं हो सकती हैं। इसके साथ ही अदालत ने मुख्य सचिव एवं गृह विभाग के प्रधान सचिव को सम्मिलित रूप से 13 अगस्त तक बताने को कहा कि इन पदों पर नियुक्ति की प्रक्रिया कब तक पूरी हो पाएगी। कोर्ट ने यह भी साफ किया कि  मामला नीतिगत है लेकिन आम नागरिकों की जान माल की सुरक्षा सरकार की पहली प्राथमिकता होनी चाहिए। 13 अगस्त को फिर इस मामले पर सुनवाई होगी।

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