मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा- आटा घोटाले में कसूरवार को बख्शा नहीं जाएगा

करनाल में पकड़े गए आटा घोटाले के तारे पूरे जिले से जुड़े हुए हैं। मुनाफा चोखा होने के कारण इसको मार्केट में बेचने से गुरेज नहीं करते। अब यह डिपो होल्डरों से लेकर अधिकारियों की गले की फांस बन गया है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने क्लियर कर दिया है कि आटा घोटाले में कसूरवार को बख्शा नहीं जाएगा। चाहे इसमें आम आदमी की संलिप्तता हो, डिपो होल्डर या अधिकारी हों। जांच रिपोर्ट में जो सामने आएगा तुरंत प्रभाव से कार्रवाई होगी। 
इससे पहले भी आटा घोटाले के संदर्भ में सूचना मिली थी, जिसमें डीएफएससी को हटा दिया था, ताकि जांच प्रभावित न हो। इस मामले की जांच चल रही है। मामला सीधे तौर पर भ्रष्टाचार से जुड़ा होने के कारण डीएफएससी अनिल कुमार की तरफ से गठित की गई जांच टीम काे तीन फ्लोर मिलों का 308 क्विंटल आटा मिला है। इन मिलों का आटा किस-किस डिपो होल्डर के पास जाता था, उनकी जांच शनिवार को होगी और लाभार्थियों के भी बयान दर्ज किए जाएंगे। दूसरी तरफ, पुलिस की डिटेक्टिव स्टाफ आरोपी आटा चक्की संचालक विजय कुमार वासी सेक्टर-16 को गिरफ्तार करने के लिए रेड कर रही है।
पुलिस के डिटेक्टिव स्टाफ के इंस्पेक्टर विरेंद्र सिंह राणा ने बताया कि इसमें आरोपी के पकड़े जाने से क्लियर होगा कि किन-किन डिपो होल्डरों से राशन किस रेट में लिया है। कितने टाइम से इस खेल में शामिल है और खाद्य एवं आपूर्ति के अधिकारियों से संपर्क था या नहीं, सहित अनेक सवालों का आधार बनाकर कानूनी कार्रवाई की जाएगी। करनाल में पकड़े जा रहे आटा घोटाले से सरकार को इस प्रोजेक्ट को बंद करना पड़ सकता है, क्योंकि लाभार्थियों को अच्छी क्वालिटी का आटा नहीं मिलता। आटे में कीड़े और कंकरीट भी मिलते हैं। इस भ्रष्टाचार को खत्म करने के लिए पब्लिक के बैंक खाते में ही इस राशन की अमाउंट डाल देनी चाहिए।

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