प्रदेश कैबिनेट का फैसला- 5 से 25 एकड़ वाले काट सकेंगे कॉलोनी, बीफ तस्करी में इस्तेमाल वाहन होगा जब्त
प्रदेश कैबिनेट की मंगलवार को हुई बैठक में कई अहम फैसले लिए गए। अब बड़े शहरों में 5 से 25 एकड़ तक के एरिया वाले भी कॉलोनी काट सकेंगे। अभी तक हाइपर व उच्च जोन में आवासीय प्लॉटिड कॉलोनी के लिए न्यूनतम 100 एकड़ और अफ्रोर्डेबल ग्रुप हाउसिंग के लिए 10 एकड़ जमीन की शर्त थी। सीएम मनोहर लाल की अध्यक्षता में हुई बैठक में गोवंश संरक्षण के लिए कानून और सख्त किया गया है।
अब गोवंश के अलावा गोमांस या बीफ तस्करी करने में इस्तेमाल वाहन को जब्त किया जा सकेगा। वाहन छुड़ाने के लिए उसकी कीमत की राशि जमा करानी होगी। गाय व बीफ तस्करी पर पुलिस को कार्रवाई का अधिकार दिया गया है। वहीं, दादुपुर-नलवी नहर की जमीन किसानों को वापस दिए जाने का भी निर्णय लिया है। अपनी जमीन वापस लेने के लिए किसान 30 अगस्त तक अावेदन कर सकेंगे।
वहीं, अम्बाला नगर निगम से अम्बाला कैंट को अलग करने को भी मंजूरी दी गई है। कैंट को अम्बाला सदर नगर परिषद बनाया जाएगा। खाद्य प्रसंस्करण उद्योग को बढ़ावा देने के लिए दलहन पर बाजार शुल्क खत्म किया गया है।
प्रदेश कैबिनेट के 5 अहम फैसले
1. शहरों में कॉलोनी काटने के लिए तय रकबे में कमी की गई
शहरी क्षेत्र विकास एवं विनियमन अधिनियम-1975 के तहत दिए गए लाइसेंसों के क्षेत्र मानदंडों में संशोधन किया है। आवासीय प्लॉटेड कॉलोनी के लिए हाइपर जोन क्षेत्र के लिए न्यूनतम 25, उच्च जोन के लिए 20, मध्यम के लिए 15 और निम्न यानी छोटे शहरों के लिए 10 एकड़ जमीन तय की है। अफोर्डेबल ग्रुप हाउसिंग के लिए हाइपर जोन में 5, उच्च के लिए 4, मध्यम के लिए 2 व निम्न के लिए एक एकड़ जमीन तय की है।
इसलिए फैसला: पीएम नरेंद्र मोदी ने 2022 तक हर परिवार को घर मुहैया कराने का लक्ष्य तय किया हुआ है। शहरों में आबादी लगातार बढ़ रही है और जमीन कम हो रही है। इसलिए सरकार ने कॉलोनी काटने के लिए तय रकबे में कमी की है।
2. एसआई कर सकेंगे वाहन जब्त, कीमत जमा कराने पर छूटेगा
गोवंश संरक्षण एवं गोसंवर्धन अधिनियम-2015 में संशोधन किया है। अब सब इंस्पेक्टर (एसआई) स्तर के पुलिस अधिकारी गोवंश व गोमांस तस्करी के मामले में वाहनों को जब्त कर सकेंगे। वाहनों की जांच कर सकेंगे। संदिग्ध जगह की तलाशी ले सकेंगे। वाहन की सुपुर्दगी सभी औपचारिकताएं पूरी होने पर उसकी कीमत लेकर वापस दिया जा सकेगा। पुलिस अधिकारी को मामले की रिपोर्ट सक्षम अधिकारी को करनी होगी।
इसलिए फैसला: गो तस्करी मामले में कार्रवाई का अधिकार मजिस्ट्रेट को ही था। पुलिस मौके पर पहुंचने पर भी कार्रवाई नहीं कर सकती थी। प्रदेश में गोहत्या व गोमांस पर पूर्ण पाबंदी है। उल्लंघन पर 10 साल तक की सजा का प्रावधान है।
3. नहर की 824 एकड़ जमीन मुआवजा लेकर लौटाई जाएगी
यमुनानगर के दादूपुर से कुरुक्षेत्र के नलवी तक नहर के लिए अधिगृहित जमीन किसानों को लौटाई जाएगी। 2005 में 1020 एकड़ जमीन अधिगृहित हुई थी। 824 एकड़ जमीन किसानों को लौटाई जाएगी। 5.399 एकड़ पर कंस्ट्रक्शन हो चुका है। बाकी जमीन के अभी रेट तय किए जाएंगे। जमीन यथास्थिति में लेने पर मुआवजा राशि बिना ब्याज लौटानी होगी। जमीन समतल हुई लेना है तो मुआवजे राशि पर 9% ब्याज लगेगा।
इसलिए फैसला: नहर की जमीन का मामला हाईकोर्ट तक पहुंचा था। कोर्ट के आदेशानुसार किसानों को जो मुआवजा दिया जाना तय हुआ, वह रकम काफी ज्यादा थी। इसलिए सरकार ने प्रोजेक्ट को अव्यावहारिक बताते हुए रद्द ही कर दिया।
4. दलहन पर बाजार शुल्क माफ, खाद्य उद्योग को बढ़ावा मिलेगा
कृषि व्यवसाय व खाद्य प्रसंस्करण नीति-2018 में संशोधन किया है। इसके अनुसार खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों में कच्चे माल के रूप में प्रयोग की जाने वाली दलहनों या दालों पर बाजार शुल्क माफ होगा।
इसलिए फैसला: सरकार ने दलहन बिजाई का लक्ष्य 62 हजार हेक्टेयर तय किया है। किसानों को दाम अच्छे मिल सकेंगे। उद्योगों को बढ़ावा मिलेगा।
5. कैंट को बाहर कर अम्बाला निगम में जोड़े जाएंगे 12 गांव
अम्बाला कैंट को नगर निगम से बाहर करने का निर्णय लिया है। इसे अम्बाला सदर नगर परिषद बनाया जाएगा। अम्बाला नगर निगम में शहर के साथ लगते 12 गांवों को जोड़ा जाएगा।
इसलिए फैसला: अम्बाला कैंट व अम्बाला शहर की दूरी 12 किमी है। निगम कार्यालय शहर में है। ऐसे में कैंट के लोग अलग करने की मांग कर रहे थे।