अलवर की सामूहिक दुष्कर्म पीड़िता बनी कांस्टेबल

राजस्थान में अलवर जिले के थानागाजी की सामूहिक दुष्कर्म पीड़िता को राजस्थान पुलिस में कांस्टेबल बना दिया गया है। गहलोत कैबिनेट ने उसकी नियुक्ति पर मुहर लगा दी है। जल्द ही पीड़िता को नियुक्ति पत्र सौंप दिया जाएगा। राज्य सरकार ने हाल ही में पीड़िता को सरकारी नौकरी देने का ऐलान किया था।
सरकारी ऐलान के बाद ही पीड़िता को पुलिस कांस्टेबल बनाने का निर्णय लिया गया। अब अशोक गहलोत कैबिनेट ने इसे अमली जामा पहना दिया है। कैबिनेट ने सर्कुलेशन से इस प्रस्ताव को मंजूरी दी है। पीड़िता को कांस्टेबल बनाने के निर्णय के बाद एक सप्ताह पहले ही गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव राजीव स्वरूप ने सचिवालय में विभाग के आला अधिकारियों के साथ बैठक कर इससे संबंधित तमाम औपचारिकताएं पूरी कर ली थीं। वित्त और विधि विभाग से मंजूरी मिलने के बाद फाइल को कैबिनेट के पास भेजा दिया गया था।
कैबिनेट ने सर्कुलेशन से इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। उल्लेखनीय है कि इस मामले में पुलिस ने सभी छह आरोपितों के खिलाफ अलवर जिला विशिष्ट न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट में चार्जशीट दाखिल कर दी है। कोर्ट मामले में फास्ट ट्रैक कोर्ट की तर्ज पर प्रतिदिन सुनवाई कर रही है।
सामूहिक दुष्कर्म पीड़िता को जल्द न्याय मिलने की उम्मीद है। मामले को लेकर कोर्ट में नियमित सुनवाई चल रही है। सोमवार की सुबह अलवर विशिष्ट न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट में पीड़िता के बयान दर्ज किए गए थे। वहीं, आरोपियों की भी कोर्ट में पेशी हुई। इस मामले में पुलिस ने 10 दिन के भीतर अपनी जांच पूरी कर 18 मई को आरोपितों के खिलाफ विशिष्ट न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट अलवर में 30 पेज की चार्जशीट पेश कर दी थी।

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